Top Guidelines Of hindi kahani
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बिना विचारे जो करे सो पाछे पछताय कहानी
कहानियाँ हैं। इनके सभी कहानियाँ पनघट, सुदर्शन सुधा, तीर्थ यात्रा आदि कहानी-संग्रहों में संग्रहित है।
हैं। विषय की दृष्टि से जैसी विविधता अज्ञेय जी की कहानियों मिलती है वह विविधता
कुत्ता जो विदेश चला गया : पंचतंत्र की कहानी
बड़े-बड़े शहरों के इक्के-गाड़ीवालों की ज़बान के कोड़ों से जिनकी पीठ छिल गई है, और कान पक गए हैं, उनसे हमारी प्रार्थना है कि अमृतसर के बंबूकार्ट वालों की बोली का मरहम लगावें। जब बड़े-बड़े शहरों की चौड़ी सड़कों पर घोड़े की पीठ चाबुक़ से धुनते हुए, इक्के वाले कभी चंद्रधर शर्मा गुलेरी
सुखदेव ने ज़ोर से चिल्ला कर पूछा—'मेरा साबुन कहाँ है?' श्यामा दूसरे कमरे में थी। साबुनदानी हाथ में लिए लपकी आई, और देवर के पास खड़ी हो कर हौले से बोली—'यह लो।' सुखदेव ने एक बार अँगुली से साबुन को छू कर देखा, और भँवें चढ़ा कर पूछा—'तुमने लगाया था, क्यों?
हिंदी की सर्वश्रेष्ठ कहानियो का संग्रह
रामप्रसाद घिल्डियाल पहाड़ी ने मनोवैज्ञानिक कहानियों के
उत्पन्न उलझनों का विश्लेषण करने वाले इनकी कहानी जहाँ लोक प्रिय और सर्वग्राह्य
राजा शिवप्रसाद सितारे हिन्द की कहानी 'राजाभोज का सपना' भी ऐसी ही कहानी है, इसमें भी थोड़ा बहुत आधुनिकता का स्पर्श मिलता है। इन
कहानी पत्रिकाओं ने भी अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया।
मानवतावाद को एक नया प्रकाश दिया, प्रेमचन्द ने जहाँ अपनी कहानियों के माध्यम से समाज में
साहित्य के प्रेमचन्द स्कूल के वृहद्व्रयी कहलाते हैं- (हिन्दी साहित्य का सुबोध
कोटि की कहानियाँ हैं। इन कहानियों को हम प्रयोगशील कहानियाँ कह सकते हैं। जिनमें